कोरोना वायरस (Covid 19) संकट और लॉकडाउन (Lockdown) के बीच जब गरीब-पिछड़ा वर्ग आर्थिक तंगी और भूख से जूझ रहा है, ऐसे में बिहार (Bihar) के फुलवारी शरीफ में प्रशासन ने महादलितों (Mahadalit) के घर तोड़ दिए. अब हालात यह हैं कि ये लोग खुले आसमान के नीचे रहने को मजबूर हैं.
प्रभात खबर के अनुसार, सोरमपुर पंचायत के सोरमपुर गांव में महादलित टोला पर जेसीबी चलाकर चाट में बसे कई घरों को तोड़ा गया. स्थानीय लोगों का कहना है कि वह यहां कई सालों से रह रहे हैं. उनका कहना है कि लॉकडाउन का फायदा उठाकर हमारे घरों को उजाड़ दिया गया.
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इसके बाद भाकपा माले के लोग मौके पर पहुंचे और इन लोगों की समस्याओं को सुना. यहां रहने वाले एक शख्स लक्ष्मण माझी ने बताया कि जेसीबी चलाकर उनकी झोपडि़यों को तोड़ डाला गया. इसमें उनकी कमाई का चावल और गेंहू भी रखा था, जो सब मिट्टी में मिल गया.
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लक्ष्मण माझी जैसे ही कई लोग हैं, जिनकी झोपडि़यों को जेसीबी से जमींदोज़ कर दिया गया. अब उनके सामने अपने बच्चों को लेकर खुले आसमान के नीचे जीने का संकट खड़ा हो गया है.
भाकपा माले ने मांग की है कि सरकार इन गरीबों को रहने के लिए सबसे पहले जमीन उपलब्ध कराकर प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मकान उपलब्ध कराए.
उधर, फुलवारी सीओ का कहना है कि उन्हें इन लोगों के घर जेसीबी से गिराए जाने की कोई जानकारी ही नहीं है. सोरमपुर में तो नाले की उड़ाही की जा रही है.
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