नई दिल्ली/जलगांव : मशहूर शायर मुनव्वर राना (Munawwar Rana) द्वारा महर्षि वाल्मीकि (Maharishi Valmiki) को लेकर दिए बयान को लेकर वह मुश्किल में आ गए हैं. तालिबानी (Taliban) लड़ाकों की तुलना महर्षि वाल्मीकि से करने पर समाज के लोग उनसे खफा हो गए हैं. उनके खिलाफ महाराष्ट्र (Maharashtra) के जलगांव (Jalgaon) स्थित शनि पेठ पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराई गई है. साथ ही उनका पुतला भी फूंका गया है.
आदिवासी वाल्मीकलव्य सेना (Adivasi Valmikalavya Sena) की शिकायत पर थाने में एनसी दर्ज की गई है. सेना द्वारा मुनव्वर राणा का पुतला भी फूंका गया, जिसके बाद जलगांव के शनि पेठ पुलिस थाने में शायर मुनव्वर राणा के खिलाफ शिकायत दी गई.
दरअसल, मुनव्वर राणा (Munawwar Rana) ने अफगानिस्तान पर तालिबानियों के कब्जे को लेकर उनकी राय ने नए विवाद को जन्म दिया है. मुनव्वर राणा ने तालिबानी लड़ाकों की तुलना महर्षि वाल्मीकि से कर दी.
एक टीवी चैनल से बात करते हुए मुनव्वर राना ने कहा कि अगर वाल्मीकि रामायण लिख देते हैं तो देवता हो जाते हैं, उससे पहले वह डाकू होते हैं. कहा कि इंसान का किरदार और इंसान का कैरेक्टर बदलता रहता है. हमें आज अफगानी अच्छे लगते हैं, दस साल बाद वह वाल्मीकि होंगे.
मुनव्वर राना ने आगे कहा कि आप उन्हें भगवान कह रहे हैं. आपके मजहब (हिन्दू धर्म) में किसी को भी भगवान कह दिया जाता है. वाल्मीकि एक लेखक थे. उनका जो किरदार था, उसे अदा किया. उन्होंने रामायण लिखकर बड़ा काम किया.
मुनव्वर राना ने कहा था कि जितनी क्रूरता अफगानिस्तान में है, उससे ज्यादा क्रूरता तो हमारे यहां पर ही है. पहले रामराज था लेकिन अब सब बदलकर कामराज है. कहा कि जितनी एके-47 उनके पास नहीं होंगी, उतनी तो हिन्दुस्तान में माफियाओं के पास हैं.