क्रिकेटर युवराज सिंह (Yuvraj Singh) द्वारा लाइव चैट के दौरान युजवेंद्र चहल (Yuzvendra Chahal) पर की गई जातिसूचक अपमानजनक टिप्पणी के मामले में दर्ज एफआईआर को रद्द कराने के लिए युवराज ने पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट (Punjab and Haryana High Court) का दरवाजा खटखटाया है. युवराज की अर्जी को सुनवाई के लिए कल लिस्टेड किया गया है, जिस पर जस्टिस अमोल रतन सिंह की कोर्ट में सुनवाई होगी.
युवराज सिंह द्वारा दलित समाज के बारे में की गई अपमानजनक टिप्पणी के मामले में हांसी थाना शहर में आईपीसी एवं अनुसूचित जाति व जनजाति अत्याचार अधिनियम के तहत केस दर्ज किया गया है. लिहाजा, युवराज सिंह ने गिरफ्तारी से बचने के लिए पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में अपने विरुद्ध दर्ज मुकदमे को खारिज करने के लिए तथा हांसी पुलिस की कार्रवाई पर रोक लगाने के लिए याचिका दायर की है.
अधिवक्ता रजत कलसन ने 2 जून 2020 को युवराज सिंह के खिलाफ थाना शहर हांसी में एक शिकायत दी थी, जिसमें युवराज सिंह के खिलाफ दलितों के बारे में अपमानजनक टिप्पणी करने के आरोप लगाए गए थे. इस बारे में हांसी पुलिस ने 8 माह बाद 14 फरवरी को युवराज सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था.
युवराज सिंह ने अपने खिलाफ दर्ज मुकदमे मैं हांसी पुलिस की मुकदमे में की जा रही कार्रवाई पर रोक लगाने की मांग भी की है. इस केस में शिकायतकर्ता अधिवक्ता रजत कलसन ने कहा कि वे इस मामले में अपना पक्ष रखेंगे तथा युवराज सिंह की याचिका को खारिज कराने के लिए तथा उसे गिरफ्तार करने के लिए पुरजोर मांग करेंगे.